Friday, December 19

भारत ने दिखाई आर्थिक ताकत दूसरी तिमाही में 8.2% की रफ्तार से दौड़ी जीडीपी, दुनिया दंग

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नई दिल्ली। वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच भारत ने एक बार फिर अपनी आर्थिक शक्ति का दम दिखाया है। वित्त वर्ष 2025-26 की दूसरी तिमाही में भारत की रियल जीडीपी 8.2% की तेज गति से बढ़ी, जो पिछले छह तिमाहियों की सबसे मजबूत वृद्धि है। पिछले वर्ष की इसी अवधि में यह वृद्धि 5.6% थी। इस शानदार प्रदर्शन के साथ भारत दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्था के रूप में अपनी स्थिति और मजबूत कर चुका है। नॉमिनल जीडीपी में भी 8.7% की वृद्धि दर्ज की गई।

किस सेक्टर ने दिखाई सबसे ज्यादा दम?

द्वितीयक और तृतीयक क्षेत्रों का शानदार प्रदर्शन

सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, इस वृद्धि का सबसे बड़ा योगदान द्वितीयक (8.1%) और तृतीयक (9.2%) क्षेत्रों से आया।

  • मैन्युफैक्चरिंग में 9.1% की ज़बरदस्त ग्रोथ, जबकि पिछले साल यह 2.2% रही थी।
  • कंस्ट्रक्शन सेक्टर ने 7.2% की बढ़त दर्ज की।
  • वित्तीय, रियल एस्टेट और प्रोफेशनल सर्विसेज जैसे तृतीयक क्षेत्रों ने 10.2% की सशक्त वृद्धि दिखाई।

प्राथमिक क्षेत्र में हल्की नरमी

  • कृषि क्षेत्र की ग्रोथ 3.5% रही (पिछले साल 4.1%)
  • खनन क्षेत्र 0.04% सिकुड़ा, हालांकि पिछला सिकुड़ाव इससे ज्यादा था।

औद्योगिक उत्पादन में मजबूती

सितंबर तिमाही में औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (IIP) औसतन 4.1% बढ़ा, जबकि मैन्युफैक्चरिंग उत्पादन में 4.9% की बढ़ोतरी रही। मजबूत औद्योगिक गतिविधि ने समग्र GDP वृद्धि को सहारा दिया।

गांवों की मजबूती और सरकारी खर्च का योगदान

भारत की अर्थव्यवस्था को गति देने में ग्रामीण मांग और सरकारी पूंजीगत खर्च ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

  • सरकारी कैपेक्स में सितंबर तिमाही में 31% की वृद्धि
  • माल निर्यात में 8.8% की उछाल, जबकि पिछले साल इसी समय 7% की गिरावट
  • कृषि उत्पादन बेहतर होने से ग्रामीण खपत में मजबूती
  • घरेलू खपत, जो अर्थव्यवस्था का 60% हिस्सा है, तिमाही में मजबूत बनी रही

हालांकि, शहरी मांग और निजी निवेश अभी भी उम्मीदों के मुताबिक तेज़ नहीं हुए हैं।

4 ट्रिलियन डॉलर की ओर बढ़ता भारत

मुख्य आर्थिक सलाहकार वी. अनंत नागेश्वरन ने बताया कि भारत की अर्थव्यवस्था इस वित्त वर्ष के दौरान 4 ट्रिलियन डॉलर का आंकड़ा पार कर लेगी। वर्तमान में भारत दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है, जिसकी GDP लगभग 3.9 ट्रिलियन डॉलर है।

उन्होंने कहा कि वैश्विक भू-राजनीतिक अस्थिरता के माहौल में भारत की मजबूत आर्थिक वृद्धि उसकी अंतरराष्ट्रीय स्थिति को और ऊंचाई देगी।

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