देश सोचे,क्या आजादी के बाद शहीदों के सपने पूरे हुए : एडवोकेट शंकर सोनी
देश में आम आदमी की बोलने और अभिव्यक्ति की आजादी छीनी जा रही है – डॉ प्रीतम पाल
जयपुर/ज्ञानप्रवाह न्युज। राजस्थान राष्ट्रभाषा प्रचार समिति की शहीद दिवस की पूर्व संध्या के मौके पर आयोजित विचार गोष्ठी में मौजूद विभिन्न संगठनों के प्रतिनिधियों ने आह्वान किया कि देश इस बात का आंकलन करे कि क्या हम आज 77 साल बाद भी वो आजादी हासिल कर सके हैं जिसके लिए सरदार भगतसिंह, सुखदेव, राजगुरु जैसे लाखों क्रांतिकारियों ने हंसते हंसते जान कुर्बान कर दी थी।

मुख्य अतिथि एडवोकेट शंकर सोनी ने कहा कि शहीदों के सपनों के भारत का निर्माण अगर करना है तो शहीदों की याद को अपने दिलोदिमाग में ताजा रखनी होगी। हम उसी प्रयास में जुट हुए है। राष्ट्रभाषा प्रचार समिति के महासचिव प्रकाश चतुर्वेदी ने कहा कि हमें हालात बदलने के लिए लोगों में आजादी के वक्त का जज्बा भरने की जरूरत है और यह जिम्मा नई पीढ़ी ले।

डॉ प्रीतम पाल ने कहा कि देश में आम आदमी की बोलने और अभिव्यक्ति की आजादी छीनी जा रही है। लोग सोचें कि क्या ऐसी ही आजादी के लिए शहीदों ने कुर्बानियां दी थी ?
अखिल भारतीय शांति एवं एकजुटता संगठन की सुनीता चतुर्वेदी ने देश की शिक्षण संस्थाओं में चल रहे माहौल पर अफसोस जताया। कार्यक्रम की अध्यक्षता पत्रकार देवेंद्र शास्त्री ने की। कार्यक्रम में मरुधरा किसान यूनियन के प्रतिनिधियों ने भी हिस्सा लिया।

गोष्ठी में उपस्थित सभी सहभागियों ने सर्वसम्मति से चार प्रस्ताव भी पारित किए जिसमें पहला देश में बनाये जा रहे कानूनों में जनता की भागीदारी सुनिश्चित की जानी चाहिए। दूसरा देश के शैक्षणिक माहौल को दिशाहीन होने बचाया जाए। तीसरा फिलीस्तीन के नरसंहार की निभर्त्सना। चौथा हिंदी को राजभाषा से राष्ट्रभाषा बनाने की प्रक्रिया को तेज किया जाए एवम पांचवां देश में न्यायपालिका एयर कार्यपालिका जनता के हित में काम करे।
इस मौके पर आशीष गौतम,कैलाश घनचक्कर ने भी विचार रखे। धीरेश जैन ने धन्यवाद ज्ञापित किया। अल्प आय परिवारों के लिए चलाए जा रहे विद्यालय के अध्यापकों और कर्मचारियों को दूर्वा शास्त्री की तरफ से ड्रेस दे कर एडवोकेट ललित कुमार सहसचिव राजस्थान राष्ट्रभाषा प्रचार समिति जयपुर के उपस्थिती में सम्मानित किया गया।